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Reuters/Kevin Lamarque

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि ऊंचे शुल्क के साथ भारत कई सालों से अमेरिका के व्यापार को 'बुरी तरह प्रभावित' कर रहा है। अपनी पहली भारत यात्रा के दौरान वह इस संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात करेंगे। उल्लेखनीय है कि ट्रंप अपनी पत्नी मेलानिया ट्रंप के साथ 24-25 फरवरी को भारत यात्रा पर जा रहे हैं।

ट्रंप ने बृहस्पतिवार को कोलराडो में 'कीप अमेरिका ग्रेट' रैली में कहा, ''मैं अगले हफ्ते भारत जा रहा हूं और हम व्यापार पर बात करने वाले हैं। वह हमें कई सालों से बहुत बुरी तरह प्रभावित कर रहे हैं।''

ट्रंप ने अपने हजारों समर्थकों के सामने कहा कि वह 'वास्तव में' मोदी को 'पसंद' करते हैं और वे आपस में व्यापार पर बातचीत करेंगे।

उन्होंने कहा, ''हम थोड़ी साधारण बातचीत करेंगे, थोड़ी व्यापार पर बातचीत करेंगे। यह हमें बुरी तरह प्रभावित कर रहा है। वह हम पर शुल्क लगाते हैं और भारत में यह दुनिया की सबसे अधिक दरों में से एक है।''

इस यात्रा से पहले ऐसी खबरें आ रही है कि भारत और अमेरिका एक बड़े व्यापार समझौते की तरफ बढ़ रहे हैं।

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भारत को 2018-19 में यूएस से 3.13 बिलियन अमरिकी डॉलर का एफडीआइ प्राप्त हुआ, जो 2017-18 में 2 बिलियन अमरिकी डालर से अधिक था।Reuters

अपनी भारत यात्रा से पहले ट्रंप ने लास वेगास में 'होप फॉर प्रिजनर्स ग्रेजुएशन सेरमनी' कार्यक्रम की शुरुआत में कहा, ''दोनों देश एक बेजोड़ व्यापार समझौता कर सकते हैं।''

हालांकि उन्होंने अपने संबोधन में यह भी संकेत दिए कि अगर समझौता अमेरिका के मुताबिक नहीं हुआ, तो इसकी प्रक्रिया धीमी हो सकती है।

उन्होंने कहा, ''हो सकता है कि हम इसे धीमा करें या इसे चुनाव के बाद करें। मेरा मानना है कि ऐसा हो भी सकता है। इसलिए हम देखेंगे कि क्या होता है।''

ट्रंप ने कहा, ''हम तभी समझौता करेंगे जब यह अच्छा होगा क्योंकि हम अमेरिका को पहले स्थान पर रख रहे हैं। लोगों को यह पसंद आए या नहीं, हम अमेरिका को पहले स्थान पर रख रहे हैं।''

भारत-अमेरिका के बीच माल एवं सेवा में द्विपक्षीय कारोबार अमेरिका के वैश्विक व्यापार का तीन फीसदी है। कांग्रेशनल रिसर्च सर्विस (सीआरएस) की हालिया रपट के अनुसार, भारत के लिए यह व्यापारिक रिश्ता अहम है।

2018 में भारत के लिए अमेरिका दूसरा सबसे बड़ा निर्यात बाजार रहा। पहले स्थान पर यूरोपीय संघ था। भारत के कुल निर्यात में अमेरिका की हिस्सेदारी 16 प्रतिशत और यूरोपीय संघ की 17.8 प्रतिशत रही।

भारत अब माल एवं सेवाओं के व्यापार मामले में अमेरिका का आठवां सबसे बड़ा हिस्सेदार देश है।

साभार : यह लेख मूल रूप से समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा अंग्रेजी में लिखा गया है. यह मूल लेख का हिंदी अनुवाद है.