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कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के अमेठी के अलावा केरल की वायनाड सीट से चुनाव लड़ने के ऐलान के बाद से प्रदेश यूनिट में उत्साह है। कार्यकर्ताओं ने राहुल के चुनाव लड़ने की खबर मिलने पर आतिशबाजी कर जश्न मनाया, लेकिन पार्टी के इस फैसले ने कुछ सहयोगियों को भी नाराज कर दिया। एक तरफ बीजेपी ने राहुल के इस फैसले पर वार करते हुए कहा कि वह अमेठी में हार के डर से भाग रहे हैं, वहीं पश्चिम बंगाल में साथ लड़ने की तैयारी कर रहे लेफ्ट ने इस पर नाराजगी जताई है।

सीपीएम के नेता प्रकाश करात ने कहा कि उन्होंने लेफ्ट टारगेट करने के लिए केरल जाने का फैसला लिया है। सीपीएम के अलावा सीपीआई ने भी कहा है कि कांग्रेस के फैसले से पता चलता है कि वह लेफ्ट से मुकाबला करना चाहती है। पार्टी ने जोर देकर कहा कि वे उनकी हार सुनिश्चित करेंगे। वहीं, बीजेपी ने कहा कि अमेठी के मतदाता बीते सालों में उनके और उनके पार्टी द्वारा किए गए कामों का हिसाब मांगेंगे, इसी डर से राहुल गांधी केरल 'भाग' गए।

केरल से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व रक्षा मंत्री ए के एंटनी ने रविवार को राहुल के वायनाड सीट से लड़ने का ऐलान किया था। उन्होंने कहा कि प्रदेश इकाई के अनुरोध के बाद राहुल ने वायनाड से लड़ने पर सहमति जताई है। इस फैसले को कांग्रेस की तरफ से दक्षिण भारत, खासकर केरल में अपने जनाधार को मजबूत करने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है, जहां लोकसभा की 20 सीटें हैं।

इसी तरह तमिलनाडु में लोकसभा की 39 सीटें हैं, जबकि कर्नाटक में 28 सीटें हैं। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए सीपीएम पोलित ब्यूरो के सदस्य प्रकाश करात ने कहा कि कांग्रेस का यह फैसला दिखाता है कि पार्टी केरल में वामपंथी पार्टी से मुकाबला करना चाहती है। उन्होंने पत्रकारों से कहा, 'उनकी प्राथमिकता अब केरल में वाम दलों के खिलाफ लड़ना है। यह बीजेपी के खिलाफ लड़ने की कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रतिबद्धता के खिलाफ है, क्योंकि केरल में एलडीएफ मुख्य ताकत है जो बीजेपी से लड़ रहा है।'

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ANI

सीपीएम के पूर्व महासचिव ने कहा कि उनकी पार्टी वायनाड में राहुल गांधी की हार सुनिश्चित करेगी। बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने भी उत्तर प्रदेश की एक रैली में राहुल गांधी के दो सीटों से चुनाव लड़ने पर निशाना साधा। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में अपनी पहली चुनावी सभा में शाह ने कहा, 'राहुल गांधी केरल भाग गये हैं क्योंकि उन्हें डर है अमेठी के मतदाता उनसे हिसाब मांगेंगे।'

सीपीआई के नेता डी. राजा ने कहा, 'इसका कोई मतलब नहीं है। मुझे समझ में नहीं आ रहा है कि कांग्रेस यहां क्या राजनीति खेल रही है। केरल में बीजेपी से लड़ने के लिए कोई नहीं है। यह मुकाबला वाम पार्टी बनाम कांग्रेस नेतृत्व वाले यूडीएफ के बीच है। केरल में राहुल गांधी के चुनाव लड़ने से देश को आखिर क्या संदेश मिल रहा है।'उन्होंने कहा, 'प्राथमिकता तो बीजेपी को हराना है। आखिर इस कदम से कैसे मदद मिलेगी? हम लोग इस सीट से अपने उम्मीदवार को हटाने नहीं जा रहे हैं। राहुल गांधी को देश के लोगों को जवाब देना होगा।'

इस बीच चुनाव प्रचार के लिए तिरुवनंतपुरम आए सीपीएम महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा कि उम्मीदवारों पर फैसला करना राजनीतिक पार्टी का आंतरिक मामला होता है और किसी अन्य पार्टी को इसमें हस्तक्षेप करने की आवश्यकता नहीं है। उन्होंने कहा, 'सीपीएम का मुख्य उद्देश्य नरेंद्र मोदी को सत्ता से हटाना है।'केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने कहा कि राहुल गांधी के वायनाड से चुनाव लड़ने के कदम को वाम दलों के खिलाफ देखा जाना चाहिए न कि बीजेपी के खिलाफ। उन्होंने दावा किया कि एलडीएफ 23 अप्रैल को होने वाले लोकसभा चुनाव में उन्हें शिकस्त देगा।