अपनी कप्तानी में भारतीय क्रिकेट टीम को विश्वकप जितवाने वाले कपिल देव की अगुवाई वाली क्रिकेट सलाहकार समिति ने शुक्रवार को टीम इंडिया के नए हेड कोच के नाम की घोषणा करते हुए वर्तमान हेड कोच रवि शास्त्री को एक बार फिर यह जिम्मेदारी सौंपी। इसके साथ ही 57 साल के रवि शास्त्री एक बार फिर भारतीय टीम के मुख्य कोच पद पर काबिज हो गए। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने मुंबई में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर उनके नाम की घोषणा की। वह 2021 तक टीम इंडिया के हेड कोच बने रहेंगे।
गौरतलब है कि टीम इंडिया के मुख्य कोच के लिए 6 नामों को शॉर्टलिस्ट किया गया था, जिसमें मौजूदा कोच रवि शास्त्री भी शामिल थे। शास्त्री के अलावा दो और भारतीय कोच (पूर्व क्रिकेटर लालचंद राजपूत और रॉबिन सिंह) भी शॉर्ट लिस्ट किए गए थे। आखिरकार कपिल देव के नेतृत्व वाली सीएसी की पहली पसंद रवि शास्त्री बने। इस समिति में अंशुमन गायकवाड़ और शांता रंगास्वामी भी शामिल हैं।
इससे पहले शुक्रवार को बीसीसीआई हेडक्वार्टर में कोच पद के लिए हुए इंटरव्यू में लालचंद राजपूत, रॉबिन सिंह और माइक हेसन उपस्थित हुए, जबकि रवि शास्त्री समेत दो दावेदार स्काइप के माध्यम से जुड़े। क्रिकइंफो के मुताबिक शॉर्टलिस्ट किए गए 6 में से 5 ही उम्मीदवार बचे थे। फिल सिमंस पहले ही रेस से बाहर हो गए।
टीम इंडिया के हेड कोच पद के लिए बीसीसीआई ने जो पैमाना निर्धारित किया था उसके मुताबिक आवेदन करने वाले उम्मीवार को कम से कम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर 30 टेस्ट और 50 वनडे मैचों का अनुभव होना जरूरी था। लेकिन माइक हेसन के मामले में इस नियम को नजरंदाज किया गया। हेसन ने कभी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट नहीं खेला है, लेकिन उन्होंने न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम को अपनी कोचिंग में कई अहम सफलताएं दिलाईं। इस बारे में बीसीसीआई के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया है कि हेड कोच पद के लिए निर्धारित पैमाने को इसलिए नजरअंदाज किया गया क्योंकि हमने कोचिंग अनुभव को ज्यादा तरजीह दी।
शास्त्री का भारतीय टीम के साथ यह चौथा कार्यकाल होगा। वह बांग्लादेश के 2007 के दौरे के समय कुछ समय के लिए कोच बने थे। इसके बाद वह 2014 से 2016 तक टीम निदेशक और 2017 से 2019 तक मुख्य कोच रहे।
शास्त्री ने कोच पद की दौड़ में भारतीय टीम के अपने साथी रॉबिन सिंह और लालचंद राजपूत के अलावा न्यू जीलैंड के पूर्व कोच माइक हेसन और ऑस्ट्रेलिया के टॉम मूडी को पीछे छोड़ा। वेस्ट इंडीज और अफगानिस्तान के पूर्व कोच फिल सिमन्स निजी कारणों से कोच पद की दौड़ से हट गए थे।
मुंबई में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कपिल देव ने यहां संवाददाता सम्मेलन में फैसला सुनाते हुए कहा, 'नंबर तीन पर ऑस्ट्रेलिया के ऑलराउंडर टॉम मूडी थे और नंबर दो पर न्यू जीलैंड के माइक हेसन। आपने जैसी उम्मीद लगाई थी रवि शास्त्री नंबर एक रहे। लेकिन यह काफी करीबी मुकाबला था।'
अंशुमान गायकवाड़ ने कहा- शास्त्री पहले से ही टीम के साथ हैं। वह टीम को जानते हैं उनके पास प्लान था। वहीं शास्त्री खिलाड़ियों और सिस्टम को जानते हैं और यह उनके साथ अच्छा रहा है।
मुख्य कोच की दावेदारी में कुल छह नाम- रोबिन सिंह, माइक हेसन, लालचंद राजपूत, फिल सिमंस, टॉम मूडी और रवि शास्त्री का नाम था। सिमंस ने शुक्रवार को अपना नाम वापस ले लिया था।
कपिल देव ने कहा कि हालांकि रवि शास्त्री को कोच बनाने से पहले कप्तान की राय नहीं ली गई। उन्होंने कहा कि अगर कप्तान की राय ली जाती तो पूरी टीम की ली जाती। हालांकि कप्तान विराट कोहली ने खुलकर शास्त्री को दोबारा कोच बनाए जाने की वकालत की थी। उन्होंने वेस्ट इंडीज दौरे पर जाने से पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि अगर शास्त्री दोबारा कोच बनते हैं तो उन्हें खुशी होगी। इसके अलावा अगले दो वर्षों में भारतीय टीम को लगातार दो वर्ल्ड टी20 में भाग लेना है ऐसे में शास्त्री को बनाए रख सीएसी ने टीम के साथ ज्यादा छेड़छाड़ न करने का फैसला किया है।
जुलाई 2017 से भारत ने शास्त्री की कोचिंग में 21 में से 13 टेस्ट मैचों में जीत हासिल की। उनका जीत का औसत रहा 52.38। वहीं टी20 इंटरनैशनल में 69.44 जीत औसत के साथ भारत ने 36 में से 25 मैच जीते। वनडे मैचों में तो यह रेकॉर्ड 71.67 का रहा जहां उसने 60 में से 43 मैचों में जीत हासिल की।
मौजूदा कोच रवि शास्त्री पूर्व भारतीय क्रिकेटर हैं। वह 2014 से 2016 तक भारतीय टीम के निदेशक रहे थे, जबकि 2017 में अनिल कुंबले के पद से हटने के बाद उन्हें टीम का मुख्य कोच बनाया गया था। उनकी कोचिंग में भारत वनडे वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में पहुंचा था। उन्हीं की कोचिंग में ऑस्ट्रेलिया में टेस्ट सीरीज जीतने वाली पहली एशियाई टीम भी बनी। शास्त्री पहले ही सबसे मजबूत माने जा रहे थे।