यात्री वाहनों की घरेलू बिक्री में जनवरी में 6.2 प्रतिशत की गिरावट देखी गयी है। वाहन विनिर्माताओं के संगठन सियाम ने सोमवार को यह जानकारी दी। इसकी प्रमुख वजह सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर में नरमी रहना और वाहन मांग का कमजोर रहना है।
सोसायटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स (सियाम) के आंकड़ों के अनुसार जनवरी में घरेलू बाजार में कुल 2,62,714 यात्री वाहनों की बिक्री हुई। जबकि जनवरी 2019 में यह आंकड़ा 2,80,091 था। इस अवधि में कारों की बिक्री 8.1 प्रतिशत घटकर 1,64,793 वाहन रही जबकि पिछले साल जनवरी में 1,79,324 कारें बिकी थीं।
सियाम ने कहा कि विभिन्न श्रेणियों के वाहनों की बिक्री जनवरी में 13.83 प्रतिशत घटकर 17,39,975 वाहन रही जबकि पिछले साल जनवरी में कुल 20,19,253 वाहन बिके थे।
सियाम के अध्यक्ष राजन वढेरा ने कहा, ''जीडीपी वृद्धि दर के नीचे रहने और वाहन रखने की बढ़ती लागत के चलते वाहनों की बिक्री पर दबाव बना हुआ है।''
देश में एक अप्रैल से भारत स्टेज-6 उत्सर्जन मानक लागू होने को देखते हुए वाहन विनिर्माताओं ने बीएस-4 से बीएस-6 में बदलाव किया है। इस वजह से वाहनों की कीमत बढ़ी है। वहीं लागत में वृद्धि के चलते कई कंपनियों ने जनवरी में वाहन की कीमत बढ़ायी हैं।
वढेरा ने कहा, ''बुनियादी ढांचे और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को लेकर सरकार की हाल की घोषणाओं से हमें उम्मीद है कि यह वाहनों की बिक्री को बढ़ाएगी और वृद्धि को समर्थन करेगी।''
सियाम के मूताबिक समीक्षावधि में दोपहिया वाहन की बिक्री 16.06 प्रतिशत घटकर 13,41,005 इकाई रही। जबकि पिछले साल जनवरी में यह आंकड़ा 15,97,528 इकाई था।
समीक्षावधि में मोटरसाइकिल की बिक्री 15.17 प्रतिशत गिरकर 8,71,886 वाहन और स्कूटर की बिक्री 16.21 प्रतिशत घटकर 4,16,594 वाहन रही। जनवरी 2019 में यह आंकड़ा क्रमश: 10,27,766 और 4,97,169 वाहन था।
सियाम के अनुसार जनवरी 2020 में वाणिज्यिक वाहनों की बिक्री 14.04 प्रतिशत टूटकर 75,289 वाहन रही जो जनवरी 2019 में 87,591 वाहन थी।
सियाम के महानिदेशक राजेश मेनन ने कहा कि तिपहिया वाहन श्रेणी को छोड़कर सभी श्रेणियों के वाहनों की थोक बिक्री गिरी है। उन्होंने कहा, ''हमें उम्मीद है कि जिस तरह की प्रतिक्रिया हमें अभी चल रहे ऑटो एक्सपो में मिल रही है, यह ग्राहकों की धारणा मजबूत करने में मदद करेगा। अब तक 70 से ज्यादा नयी गाड़ियां यहां पेश की जा चुकी हैं।''
साभार : यह लेख मूल रूप से समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा अंग्रेजी में लिखा गया है. यह मूल लेख का हिंदी अनुवाद है.