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रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष विनोद कुमार यादव ने कहा कि संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों के दौरान देश भर में रेलवे की 80 करोड़ रुपये की संपत्ति को नुकसान पहुंचा और इसकी भरपाई आगजनी एवं हिंसा में संलिप्त पाए गए लोगों से की जाएगी.

नागरिकता कानून (सीएए) संसद में पारित होने के चंद दिनों बाद देश के कई हिस्सों में प्रदर्शन शुरू हो गए. प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच हुई हिंसक झड़पों के चलते कई लोगों को हिरासत में लिया गया तथा गिरफ्तार किया गया. प्रदर्शनकारियों ने बसें जला दी और ट्रेनों के डिब्बों तक को आग के हवाले कर दिया.

रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष ने कहा, 'संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के विरोध में हुए प्रदर्शनों के दौरान रेलवे को 80 करोड़ रुपये की संपत्ति का नुकसान पहुंचा. इसमें पूर्व रेलवे को 70 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ और उत्तर पूर्व सीमांत रेलवे को 10 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ.' यादव ने कहा, 'इसकी क्षतिपूर्ति उन लोगों से की जाएगी जो आगजनी एवं हिंसा में संलिप्त पाए गए हैं. हालांकि, यह शुरुआती अनुमान है और अंतिम विश्लेषण के बाद ये आंकड़े बढ़ सकते हैं.'

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प्रदर्शनों के दौरान पश्चिम बंगाल में प्रदर्शनकारियों ने संकरेल रेलवे स्टेशन के टिकट काउंटर के एक हिस्से को जला दिया, सुजनीपारा रेलवे स्टेशन पर तोड़फोड़ की गई, कृष्णापुर रेलवे स्टेशन पर खड़ी कई ट्रेनें को आग के हवाले कर दिया गया और पड़ोसी मालदा जिले के हरिश्चंद्रपुर स्टेशन पर तोड़फोड़ की गई.

रेलवे द्वारा इन मामलों में नामजद लोगों से इसकी क्षतिपूर्ति करने की उम्मीद है. रेल मंत्री पीयूष गोयल ने रेलवे की संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वालों के खिलाफ राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से सख्त कार्रवाई करने की मांग की है.

यादव ने कहा, 'कानून व्यवस्था राज्य का विषय है और वे लोग इस पर काम कर रहे हैं. भरपाई की जाएगी.' हालांकि, उन्होंने इसके तौर तरीकों के बारे में बताने से इनकार कर दिया. असम में भी रेलवे की संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया, जहां उत्तर पूर्व सीमांत रेलवे को ट्रेनों को रद्द किए जाने से नुकसान का सामना करना पड़ा. सूत्रों ने संकेत दिया है कि रेलवे की संपत्ति को नुकसान पहुंचाने के दोषी पाए गए लोगों पर भारतीय रेल अधिनियम की धारा 151 लगाई जाएगी, जिसके तहत अधिकतम सात साल की कैद की सजा है.

सूत्रों ने बताया कि रेलवे नुकसान की भरपाई के लिए अदालत का भी रुख कर सकता है. वहीं, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि सीएए विरोधी प्रदर्शनों में शामिल लोगों और राज्य में हिंसा में संलिप्त रहे लोगों की संपत्ति कुर्क की जाएगी और सार्वजनिक संपत्ति को पहुंचाए गए नुकसान की उससे भरपाई की जाएगी. उन्होंने यह भी कहा कि प्रदर्शनकारियों की पहचान वीडियो क्लिप और सीसीटीवी फुटेज से की जाएगी.

साभार : यह लेख मूल रूप से समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा अंग्रेजी में लिखा गया है. यह मूल लेख का हिंदी अनुवाद है.