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मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार कर्नाटक के पूर्व मंत्री और कांग्रेस नेता डी के शिवकुमार को शुक्रवार को अदालत से कोई राहत नहीं मिली है। कोर्ट ने ईडी के अनुरोध को स्वीकार करते हुए शिवकुमार की कस्टडी पांच दिन के लिए बढ़ा दी है। बता दें कि 3 सितंबर को अरेस्ट किए गए शिवकुमार की नौ दिन की कस्टडी शुक्रवार को समाप्त होने के बाद उन्हे कोर्ट में पेश किया गया था।

ईडी ने राउज एवेन्यु कोर्ट को बताया कि शिवकुमार की कई संपत्तियां बेनामी हैं और 317 बैंक खातों के जरिए मनी लॉन्ड्रिंग की है। ईडी ने कहा कि शिवकुमार के खिलाफ जांच के अनुसार, शोधित धन 200 करोड़ रुपये से अधिक हैं और करीब 800 करोड़ रुपये मूल्य की बेनामी संपत्ति है।

साथ ही अदालत ने शिवकुमार की हिरासत अवधि पांच दिन तक और बढ़ाने की मांग करते हुए कहा कि बड़ी संख्या में दस्तावेज बरामद किए गए हैं जिनसे आरोपी शिवकुमार को रू-ब-रू कराने की जरूरत है।

ईडी के अनुसार, शिवकुमार ऐसी सूचना नहीं दे रहे हैं जिसकी जानकारी सिर्फ उनके पास ही है। अदालत ने ईडी से पूछा कि शिवकुमार अगले पांच दिन में क्या सवालों के जवाब देंगे, आपको उन्हें हिरासत में लेने की क्या जरूरत है ? ईडी ने कहा कि कुछ अन्य आरोपियों के बयान हैं और शिवकुमार का उनसे सामना कराने की जरूरत है ।

उल्लेखनीय है कि शिवकुमार को धनशोधन के एक मामले में 3 सितंबर की रात गिरफ्तार किया गया था। ईडी ने शिवकुमार, दिल्ली में कर्नाटक भवन के कर्मचारी हनुमनथैया और अन्य के खिलाफ पिछले साल सितंबर में मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था।

शिवकुमार की तबीयत बिगड़ने पर उन्हें दिल्ली के आरएमएल अस्पताल में भर्ती कराया गया था। शिवकुमार से मिलने उनके भाई डी.के.सुरेश और कर्नाटक के पूर्व सीएम सिद्धारमैया गुरुवार को अस्पताल पहुंचे थे लेकिन उन्हें मिलने की इजाजत नहीं दी गई।

मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ईडी ने गुरुवार को शिव कुमार की बेटी ऐश्वर्या से भी पूछताछ की। उनसे पूछताछ तब की गई जब यह ऐश्वर्या के नाम से अरबों की संपत्ति होने का खुलासा हुआ। ईडी ने उनसे 7 घंटे पूछताछ की है।

साभार : यह लेख मूल रूप से समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा अंग्रेजी में लिखा गया है। यह मूल लेख का हिंदी अनुवाद है।