-
ANI

अपनी राय को बेबाकी से दुनिया के सामने रखने के लिए जाने जाने वाले केंद्रीय भूतल परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने न्यूज एजेंसी एएनआई को दिए गए एक साक्षात्कार में हालिया विधानसभा चुनाव में बीजेपी को मिली हार से लेकर आगामी लोकसभा चुनाव से जुड़े कई सवालों के जवाब दिए.

नितिन गडकरी ने बुधवार को 2019 के लोकसभा चुनावों से पहले विपक्ष के प्रस्तावित 'महागठबंधन' का परिहास उड़ाते हुए कहा कि यह कमजोरों की एकजुटता है और नरेंद्र मोदी फिर से प्रधानमंत्री बनेंगे. इसके अलावा गडकरी ने अगले लोकसभा चुनाव में उन्हें प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाए जाने की संभावना को लेकर एक सवाल के जवाब में कहा कि नहीं कोई चांस ही नहीं है. मैं अभी जहां पर हूं, वहां पर खुश हूं.

उन्होंने कहा, ''महागठबंधन उन लोगों का गठबंधन है जो एनीमिक, कमजोर और हारे हुए हैं. ये लोग हैं जिन्होंने कभी एक दूसरे को 'नमस्कार' नहीं कहा, एक दूसरे को देखकर कभी मुस्कराए नहीं या एक दूसरे के साथ चाय तक नहीं पी.''

बीजेपी नेता ने कहा, ''इसका श्रेय पीएम मोदी और बीजेपी को जाता है कि ये पार्टियां अब दोस्त बन गई हैं.'' गडकरी ने अपने तर्क को मजबूती प्रदान करते हुए कहा कि सपा नेता मुलायम सिंह यादव और बसपा अध्यक्ष मायावती चिर प्रतिद्वंद्वी हैं.

उन्होंने कहा कि राजस्थान और मध्य प्रदेश के चुनावों में बीजेपी और कांग्रेस की वोट हिस्सेदारी के बीच अंतर बहुत कम था. उन्होंने कहा, ''विधानसभा चुनावों के परिणामों पर मत जाइए. हम लोकसभा चुनाव दोबारा जीतेंगे. हम अच्छा बहुमत हासिल करेंगे और मोदी दोबारा प्रधानमंत्री बनेंगे.''

पीएम पद का प्रत्याशी बनाये जाने की अटकलों को टालते हुए ग़डकरी ने कहा, 'इस बात की कोई संभावना नहीं है. मैं फिलहाल जहां हूं, वहां खुश हूं. पहले मुझे गंगा का काम पूरा करना है, चारधाम और अन्य स्थानों के लिए बेहतर रोड बनाना मेरी प्राथमिकता है. मैं इन कामों को करने में खुश हूं और इन्हें जल्द पूरा करना चाहता हूं.'

अरुणाचल प्रदेश में 9,533 करोड़ रुपये के हाईवे प्रॉजेक्ट्स का उद्घाटन कर लौट रहे गडकरी ने कहा कि पिछली सरकारों ने पूर्वोत्तर क्षेत्रों को लगातार नजरअंदाज किया था.

बीजेपी नेताओं के विवादित बयानों की बाबत गडकरी ने कहा, 'पार्टी में प्रवक्ता हैं, जिन्हें आधिकारिक रूप से पक्ष रखने की जिम्मेदारी दी गई है, लेकिन पार्टी में कुछ ऐसे लोग हैं, जो मीडिया से जब भी बात करते हैं तो विवाद होता है. किसी को भी इस तरह की बातें नहीं करनी चाहिए. इससे पार्टी की छवि पर विपरीत असर होता है.'

बीजेपी पर अक्‍सर निशाना साधने वाली सहयोगी शिवसेना को लेकर एक सवाल के जवाब में गडकरी ने कहा कि दोनों पार्टियों के बीच वैसे ही संबंध हैं जैसे उस समय थे जब अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे.

उन्होंने कहा, ''मराठी में एक कहावत है ''तुझे माझे जामेना, तुझ्या वाचुन करामेना.'' यानी हम ना तो साथ में आते हैं और ना ही अलग हो सकते. महाराष्ट्र के हित में, मराठी भाषी जनता और देश के हित में गठबंधन हम दोनों के लिए लाभकारी है.''