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उन्नाव रेप पीड़िता के रविवार को हुए एक्सीडेंट मामले में पीड़िता के चाचा की शिकायत पर भारतीय जनता पार्टी के विधायक कुलदीप सेंगर और उसके भाई सहित 10 लोगों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया गया है। पीड़िता के चाचा की तरफ से दर्ज कराई गई एफआईआर में विधायक कुलदीप सिंह सेंगर, विधायक का भाई मनोज सेंगर भी नामजद है।

रायबरेली के गुरबख्शगंज में एक ट्रक के पीड़िता की कार को टक्कर मारने के मामले में विधायक कुलदीप सेंगर और उसके भाई सहित 10 लोगों के खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास और आपराधिक साजिश जैसी कई धाराओं में केस दर्ज किया गया है। इसके अलावा 15 से 20 अज्ञात लोगों के खिलाफ भी केस दर्ज किया गया है।

गौरतलब है कि बीजेपी विधायक कुलदीप सेंगर पर रेप का आरोप लगाने वाली पीड़िता रविवार को एक सड़क हादसे में गंभीर रूप से घायल हो गई। हादसे में पीड़िता की मौसी, चाची और ड्राइवर की मौत हो गई, वहीं पीड़ित लड़की और उसका वकील गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती हैं। उत्तर प्रदेश के रायबरेली स्थित गुरबख्श गंज इलाके में गैंगरेप पीड़िता की गाड़ी और ट्रक की रविवार को भिड़ंत हुई थी। उधर, पीड़िता की मां का कहना है कि 'हमें पता चला है कि विधायक के लोग जिम्मेदार है।

कुलदीप सिंह सेंगर के अलावा जिन लोगों पर मुकदमा दर्ज हुआ है, उसमें उनके भाई मनोज सिंह सेंगर का नाम भी शामिल है। दरअसल, रेप और पीड़िता के पिता की पिटाई का मामला सामने आने के बाद कुलदीप सिंह सेंगर और उनके छोटे भाई अतुल सिंह सेंगर की गिरफ्तारी हो गई थी जबकि मनोज सिंह सेंगर पर इस मामले से लिंक न होने की वजह से वह बाहर थे। रायबरेली में रविवार को हुई घटना के बाद वह भी लपेटे में आ चुके हैं।

रायबरेली के गुरुबक्स गंज थाने में महेश सिंह की तहरीर पर सेंगर और उनके भाई मनोज सेंगर के साथ-साथ विनोद मिश्र, हरिपाल सिंह, नवीन सिंह, कोमल सिंह, अरुण सिंह, ज्ञानेन्द्र और रिंकू के खिलाफ नामजद तथा 15-20 अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास और साजिश रचने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया है। महेश ने आरोप लगाया है कि उसे पक्का यकीन है कि रायबरेली में लड़की और उसके परिजन की कार में हत्या की नीयत से ट्रक को टकराया गया।

बता दें कि उन्नाव रेप मामला पिछले साल उस समय चर्चा में आया था जब, उस समय 16 साल की रही पीड़ित लड़की ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आवास के बाहर न्याय के लिए प्रदर्शन किया था। पीड़ित लड़की ने आरोप लगाया था कि 2017 में नौकरी के लिए जब वह बीजेपी विधायक कुलदीप सेंगर के घर गई थी तो उसके साथ बलात्कार किया गया था। घटना के लगभग एक साल बाद अप्रैल 2018 में लड़की ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के घर के बाहर खुद को आग लगाने की कोशिश की थी।

मालूम हो कि पीड़ित लड़की के पिता जो उसका केस लड़ रहे थे, कथित रूप से उनकी मौत कुलदीप सेंगर के भाई द्वारा गंभीर रूप से पिटाई के बाद हो गई थी। लड़की के पिता पर पुलिस ने आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज किया था और दो दिनों तक हिरासत में रखा था। पुलिस की निष्क्रियता से निराश लड़की ने आत्मदाह का प्रयास किया था।

कुलदीप सिंह सेंगर ने राजनीति की शुरुआत कांग्रेस से की थी और वर्ष 2002 का चुनाव कांग्रेस की टिकट पर उन्‍नाव से जीता था। इसके बाद कांग्रेस का साथ छोड़कर 2007 में सेंगर ने बीएसपी की टिकट पर बांगरमऊ विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की, लेकिन मायावती से भी ज्‍यादा वक्त तक नहीं बनी और सेंगर ने पार्टी छोड़ दी।

'हाथी' का साथ छोड़ने के बाद कुलदीप सेंगर ने 'साइकिल' की सवारी शुरू की, और 2012 का विधानसभा चुनाव समाजवादी पार्टी की टिकट पर लड़ा। मुलायम ने सेंगर को भगवंत नगर सीट से टिकट दी, और यहां कुलदीप की जीत हुई। इसके बाद राज्‍य में बदलते माहौल को भांपकर कुलदीप सिंह सेंगर ने समाजवादी पार्टी का साथ छोड़कर बीजेपी का दामन थाम लिया।

उत्‍तर प्रदेश में 2017 में हुआ विधानसभा चुनाव कुलदीप सेंगर ने बीजेपी की टिकट पर बांगरमऊ सीट से लड़ा, और चौथी बार जीत हासिल की।