आईसीआईसीआई बैंक ने सोमवार को घोषणा की कि उसकी सीईओ चंदा कोचर तब तक अवकाश पर रहेंगी, जब तक वीडियोकॉन लोन मामले में उनके खिलाफ चल रही आंतरिक जांच पूरी नहीं हो जाती.
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, बैंक ने आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल के एमडी तथा सीईओ के पद पर कार्यरत संदीप बख्शी को अपना मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ) नियुक्त करने की घोषणा भी की. बख्शी 19 जून से बैंक के सीओओ पद का कार्यभार संभालेंगे.
ICICI Bank Board appoints Sandeep Bakhshi as Wholetime Director and
— ANI (@ANI) June 18, 2018
Chief Operating Officer of ICICI Bank. Chanda Kochar to go on leave till completion of enquiry in ICICI-Videocon case. pic.twitter.com/WJ3RwQU5xz
बैंक ने कहा कि गवर्नेंस तथा कॉरपोरेट मानदंड के उच्चस्तर के तहत कोचर ने अपने खिलाफ 30 मई, 2018 को घोषित की गई जांच के पूरे होने तक अवकाश पर जाने का फैसला लिया था. कोचर तथा उनके परिजन वीडियोकॉन समूह को दिए गए लोन के बदले फायदा लेने के आरोपों का समाना कर रहे हैं.
एक व्हिस्ल ब्लोअर की शिकायत पर पिछले महीने बैंक ने कोचर पर लगे आरोपों के खिलाफ स्वतंत्र जांच करने की घोषणा की थी.
वीडियोकॉन समूह की पांच कंपनियों को अप्रैल, 2012 में आईसीआईसीआई बैंक द्वारा 3,250 करोड़ रुपये का कर्ज दिया गया जिसमे से समूह ने 2,810 करोड़ रुपये नहीं चुकाए. 2017 में कर्ज को एनपीए घोषित कर दिया गया.
इसके बाद दिसंबर, 2008 में वीडियोकॉन समूह के मालिक वेणुगोपाल धूत ने आईसीआईसीआई बैंक की तत्कालीन एमडी और सीईओ चंदा कोचर के पति दीपक कोचर के साथ न्यूपावर रिन्यूबल्स प्राइवेट लिमिटेड बनाई जिसमे कोचर के परिवार और धूत की हिस्सेदारी 50-50 फीसदी थी और दीपक कोचर को इस कंपनी का प्रबंध निदेशक बनाया गया.
धूत ने जनवरी, 2009 में कंपनी के निदेशक का पद छोड़ दिया और मात्र ढाई लाख रुपये में अपने 24,999 शेयर्स भी न्यूपावर में ट्रांसफर कर दिए. इसके परिणामस्वरूप आखिर में 94.99 प्रतिशत होल्डिंग वाले शेयर महज नौ लाख रुपये में चंदा कोचर के पति की अगुवाई वाली कंपनी को मिल गए.