-
Twitter / @ANI

कर्नाटक में जारी राजनीतिक उठापटक और उच्चतम न्यायालय के दखल के बीच विधानसभा स्पीकर केआर रमेश कुमार ने बागी विधायकों से मिलने के बाद मीडिया से बातचीत में कहा कि वह पूरी जिम्मेदारी से अपना कर्तव्य निभा रहे हैं और खुदपर इस मामले के लग रहे धीमी सुनवाई के आरोपों से वह बेहद आहात हैं। समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, उन्होंने कहा कि किसी भी बागी विधायक ने उनसे मुलाकात के लिए समय नहीं मांगा था।

विधानसभा स्पीकर ने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट ने मुझसे फैसला लेने के लिए कहा है। मैंने सारी चीजों की विडियोग्राफी की है और मैं उसे सुप्रीम कोर्ट को भेजूंगा।'

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, कर्नाटक विधानसभा के स्पीकर रमेश ने बागी विधायकों से मुलाकात के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, 'मैंने कुछ चैनलों पर देखा। मुझ पर धीमी सुनवाई का आरोप लग रहा है। इस बात से मैं दुखी हूं। राज्यपाल ने मुझे 6 को सूचना दी। मैं उस वक्त तक ऑफिस में था और फिर कुछ निजी कामों के लिए चला गया। उसके पहले किसी भी विधायक ने ऐसी जानकारी नहीं दी कि वे मुझसे मिलने आने वाले हैं।'

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, उन्होंने कहा, '6 जुलाई की तारीख को मैं दोपहर एक बजकर 30 मिनट तक अपने चैम्बर में था। विधायक मुझसे मिलने 2 बजे आए। किसी भी विधायक ने मिलने का समय नहीं मांगा था। मुझसे पूर्व अनुमति भी नहीं ली थी। इसलिए यह गलत बात है कि मैं उनके आने की वजह से जल्दी निकल गया। मैं रविवार को ऑफिस नहीं खुला रख सकता हूं।'

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, स्पीकर ने कहा, 'मेरा काम किसी को बचाना या किसी को निकालना नहीं होता है। मैं जनता के प्रति जवाबदेह हूं। मैं पूरी जिम्मेदारी के साथ अपना कर्तव्य निभा रहा हूं। इससे भाग नहीं रहा हूं। मैंने कर्नाटक विधानसभा के नियम 202 के अनुसार सोमवार को सभी इस्तीफों की जांच की। 8 फॉर्म निर्धारित फॉर्मेट में नहीं थे। बाकी के बारे में अभी यह देखना है कि क्या ये इस्तीफे स्वैच्छिक और वास्तविक हैं। मैं पूरी रात इन इस्तीफों की जांच करूंगा और यह पता लगाऊंगा कि क्या ये वास्तविक हैं।'

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, स्पीकर रमेश कुमार ने कहा, 'विधायकों ने मुझसे कोई बात नहीं की वे सीधा गवर्नर के पास दौड़ गए। वे क्या करते? क्या यह दुरुपयोग नहीं है? उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से संपर्क किया। मेरा दायित्व देश के संविधान और इस राज्य के लोगों के प्रति है। मैं देरी कर रहा हूं, क्योंकि मैं इस मिट्टी से प्यार करता हूं। मुझे जल्दबाजी में काम नहीं करना। सुप्रीम कोर्ट ने मुझसे फैसला लेने के लिए कहा है। मैंने सारी चीजों की विडियोग्राफी की है और मैं उसे सुप्रीम कोर्ट को भेजूंगा।'

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, कर्नाटक विधानसभा स्पीकर ने विधायकों की धमकी और मुंबई जाने के बारे में कहा, 'बागी विधायकों ने मुझे बताया कि कुछ लोगों ने उन्हें धमकी दी थी और वे डर से मुंबई गए थे। लेकिन मैंने उनसे कहा कि उन्हें मुझसे संपर्क करना चाहिए था और मैं उन्हें सुरक्षा दिलाता। केवल 3 कार्यदिवस ही बीते हैं, लेकिन उन्होंने ऐसा व्यवहार किया जैसे कोई भूकंप आया हो।'