जाकिर नाईक
जाकिर नाईकWikimedia Commons

विवादित कट्टरपंथी प्रचारक जाकिर नाईक ने भारत प्रत्यर्पित न किये जाने पर मलेशियाई प्रधानमंत्री और मलेशिया की सरकार का शुक्रिया अदा किया. इसके साथ ही उसने भारत में भी न्याय और शांति लौटने की कामना की.

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, जाकिर नाईक ने बुधवार को अपने एक बयान में कहा, "मैं मलेशिया की सरकार और प्रधानमंत्री का मुझे यहां रहने देने की इजाजत देने के लिए का शुक्रिया अदा करता हूं. इस फैसले से मलेशिया के न्याय और सांप्रदायिक सौहार्द पर फिर से भरोसा कायम हुआ है. इसके साथ ही मैं दुआ करता हूं कि भारत में भी न्याय और शांति लौट आए."

उल्लेखनीय है कि मलेशियाई प्रधानमंत्री महातिर ने मंगलवार को कहा था कि जाकिर नाईक को सौंपने की भारत की मांग आसानी से पूरी नहीं होगी. मलेशिया के पीएम ने यह बयान जाकिर से मुलाकात के तीन दिन बाद दिया था.

टीवी चैनल के जरिये धार्मिक भाषण देकर इस्लाम को बढ़ावा देने का कार्य करने वाले जाकिर का बयान उसके भारत में मौजूद प्रवक्ता ने जारी किया है. उसपर कट्टरपन को बढ़ावा देने और आतंकवाद का समर्थन करने का आरोप लगा है. 2016 से वह इन आरोपों में अपनी गिरफ्तारी से बचने के लिए भारत से फरार है. हाल ही में उसने मलेशिया के प्रधानमंत्री महातिर से मुलाकात की और वहां रहने की अनुमति पाई है.