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अपनी नीति में बदलाव लाते हुए पाकिस्तान के भीतर बालाकोट एयर स्ट्राइक को अंजाम दिए जाने, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ की नियुक्ति और सेना के आधुनिकीकरण में तेजी जैसी कवायद के जरिए साल 2019 में भारत के रक्षा क्षेत्र में कई बदलाव देखने को मिले।

कश्मीर में 40 अर्द्धसैन्य कर्मियों की शहादत का बदला देने के लिए भारत के युद्धक विमानों ने 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी प्रशिक्षण शिविरों पर हमला किया और अगले दिन परमाणु हथियारों से लैस दोनों देशों के बीच जंग का खतरा पैदा हो गया।

हवाई झड़प के बाद पाकिस्तान ने विंग कमांडर अभिनंदन वर्धमान को अपने कब्जे में ले लिया। इससे दोनों देशों के बीच गंभीर सैन्य संकट पैदा हो गया। लेकिन, प्रमुख वैश्विक शक्तियों और भारत द्वारा इस्लामाबाद को कड़ी चेतावनी देने के चलते दो दिनों बाद उन्हें रिहा किए जाने से आसन्न खतरा टल गया।

विंग कमांडर अभिनंदन वर्तमान
विंग कमांडर अभिनंदन वर्तमान

पाकिस्तान के भीतर आतंकी केंद्र को लेकर, सीमा पार के आतंक से निपटने में भारत के रूख में इस साल बड़ा बदलाव दृष्टिगोचर हुआ।

एक और बड़े फैसले में देश के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) की नियुक्ति की गयी। सीडीएस तीनों सेनाओं से जुड़े मामलों में सरकार के लिए प्रधान सैन्य सलाहकार के तौर पर काम करेंगे। सरकार ने तीनों सेनाओं से जुड़े मामलों से निपटने के लिए रक्षा मंत्रालय के अंतर्गत सैन्य मामलों का विभाग भी बनाया। इससे, राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मुद्दों से निपटने में सरकार का महत्वपूर्ण दृष्टिकोण देखने को मिला।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त को लाल किला की प्राचीर से अपने संबोधन में सीडीएस के बारे में घोषणा की थी। वर्ष 1999 में करगिल समीक्षा समिति के सुझावों के बाद सीडीएस पद के सृजन की जरूरत महसूस हुयी।

राफेल सौदे को लेकर छिड़े विवाद और वर्षों के इंतजार के बाद भारतीय वायु सेना ने अक्टूबर में 36 राफेल लड़ाकू विमानों में से प्रथम विमान को हासिल किया। यह विमान अत्याधुनिक लड़ाकू क्षमता से लैस है और इससे देश की मारक क्षमता में बढोतरी होगी।

अरूणाचल प्रदेश और लद्दाख में सीमा के पास चीन के आक्रामक तरीके से सैन्य आधारभूत संरचनाओं के विकास के कारण सरकार को महत्वपूर्ण सैन्य वायुपट्टी को मजबूत करना पड़ा और निगरानी बढ़ानी पड़ी। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पूर्वी लद्दाख में डरबक और दौलत बेग ओल्डी को जोड़ने वाले सामरिक रूप से महत्वपूर्ण पुल का और अरूणाचल प्रदेश में निचले दिबांग घाटी और पूर्वी सिआंग को जोड़ने वाले पुल का उद्घाटन किया।

लद्दाख में भारत-चीन सीमा
लद्दाख में भारत-चीन सीमाReuters

पिछले वर्षों से जारी विचार-विमर्श के बाद महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए भारतीय सेना ने चीन और पाकिस्तान से लगी सीमा पर एकीकृत बैटल ग्रुप (आईबीजी) की स्थापना करने का फैसला किया। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ दूसरे अनौपचारिक शिखर सम्मेलन के लिए आने के पहले अक्टूबर में भारत ने अरूणाचल प्रदेश में सबसे बड़ा पर्वतीय सैन्य अभ्यास किया।

वर्ष 2019 में पाकिस्तान द्वारा करीब 3,200 बार संघर्षविराम का उल्लंघन करने के मद्देनजर आतंकवाद की चुनौतियों से निपटने के लिए भारतीय सेना ने नया रूख अख्तियार किया है। बिना किसी उकसावे के पाकिस्तान की तरफ से गोलीबारी के जवाब में भारतीय सेना ने अक्टूबर में कम से कम चार आतंकी कैंपों को निशाना बनाते हुए हमले किए और नियंत्रण रेखा से लगे तंगधार सेक्टर के दूसरी ओर कई पाकिस्तानी चौकियों को बर्बाद कर दिया।

सेना ने युद्धक क्षमता में बढोतरी के लिए सुधारों को भी अपनाया । इस दरम्यान, नौसेना प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह ने रक्षा बजट में नौसेना की घटती हिस्सेदारी का भी मुद्दा उठाया। आयुध की कमी के बावजूद सरकार 110 लड़ाकू विमानों के बेड़े को खरीदने सहित कई महत्वपूर्ण प्रणाली की खरीदारी को लेकर आगे बढ़ी।

लोकसभा चुनाव के बाद जून में राजनाथ सिंह रक्षा मंत्री बने। उन्होंने द्विपक्षीय और बहुपक्षीय रक्षा सहयोगों को प्रगाढ़ करने के लिए अमेरिका, फ्रांस, रूस, यूक्रेन, जापान और दक्षिण कोरिया सहित विभिन्न देशों का दौरा किया।

साभार : यह लेख मूल रूप से समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा अंग्रेजी में लिखा गया है. यह मूल लेख का हिंदी अनुवाद है.