पूर्व रक्षामंत्री जॉर्ज फर्नांडीस
पूर्व रक्षामंत्री जॉर्ज फर्नांडीसPRAKASH SINGH/AFP/Getty Images

देश के पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडीस का मंगलवार को 88 साल की उम्र में निधन हो गया। यह जानकारी न्यूज एजेंसी एएनआई ने दी। वे लंबे समय से बीमार चल रहे थे। फर्नांडिस अल्जाइमर बीमारी से पीड़ित थे। पीएम नरेंद्र मोदी ने फर्नांडिस के निधन पर शोक व्यक्त किया है।

पीएम ने ट्वीट कर कहा, 'जॉर्ज साहब ने भारत की बेहतरीन लीडरशिप का प्रतिनिधत्व किया। वह बेबाक और निर्भिक थे। उन्होंने देश के लिए अमूल्य योगदान दिया। वह गरीबों की सबसे मजबूत आवाज थे। उनके निधन से दुखी हूं।' अटल बिहारी वाजपेयी सरकार में रक्षा मंत्री रहे फर्नांडिस ने सेना के लिए कई बेहतरीन कदम उठाए थे। फर्नांडिस की तबीयत काफी समय से खराब थी। फर्नांडिस ने रक्षा मंत्रालय, उद्योग मंत्रालय जैसे कई अहम विभाग संभाले थे।

बता दें कि जॉर्ज फर्नांडीस राज्यसभा और लोकसभा के सदस्य भी रह चुके थे। उन्होने समता पार्टी की स्थापना की थी। रक्षा मंत्री के अलावा वे संचार मंत्री, उद्योगमंत्री, रेलमंत्री आदि जैसे अहम मंत्रालयों का भी कार्यभार संभाल चुके थे।

जॉर्ज फर्नांडीज चौदहवीं लोकसभा में मुजफ्फरपुर से जनता दल (यूनाइटेड) के टिकट पर सांसद चुने गए थे। वे 1998 से 2004 तक की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की केन्द्रीय सरकार में रक्षा मंत्री थे। वे 1967 से 2004 तक 9 लोकसभा चुनाव जीतकर सांसद बने।

ऑल इंडिया रेलवेमेन फेडरेशन के अध्यक्ष के पद पर रहते हुए उन्होंने 1974 में रेलवे में हड़ताल कराई। 1975 में इमरजेंसी के दौरान उस समय पीएम रहीं इंदिरा गांधी को चुनौती दी। इसके बाद 1976 में उन्हें बड़ौदा डायनामाइट केस में गिरफ्तार कर लिया गया। 1977 के लोकसभा चुनाव में जेल में रहते हुए ही उन्होंने बिहार से मुजफ्फरपुर सीट जीती और उन्हें केंद्रीय उद्योग मंत्री नियुक्त किया गया। अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने अमेरिकन कंपनी आईबीएम और कोका कोला को निवेश नियमों को उल्लंघन करने पर देश छोड़ के जाने के आदेश दिए थे।

तीन जून 1930 को कर्नाटक में जन्मे जॉर्ज फर्नांडिस 10 भाषाओं के जानकार थे। वह हिंदी, अंग्रेजी, तमिल, मराठी, कन्नड़, उर्दू, मलयाली, तुलु, कोंकणी और लैटिन भाषा जानते थे। उनकी मां किंग जॉर्ज फिफ्थ की बड़ी प्रशंसक थीं। उन्हीं के नाम पर अपने छह बच्चों में से सबसे बड़े का नाम उन्होंने जॉर्ज रखा था।